केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए 7वें वेतन आयोग (7th Pay Commission) से जुड़ी एक बड़ी खबर सामने आ रही है। कई मीडिया रिपोर्ट्स और सोशल मीडिया पोस्ट्स में दावा किया जा रहा है कि सरकार ने पेंशन और ग्रेच्युटी (Gratuity) देने पर रोक लगा दी है। यदि यह खबर सही है, तो यह 47 लाख से अधिक केंद्रीय कर्मचारियों और 69 लाख पेंशनर्स के लिए बड़ा झटका हो सकता है।
लेकिन क्या वाकई सरकार ने ऐसा कोई फैसला लिया है? या यह केवल अफवाह है? इस ब्लॉग में हम इसी मुद्दे पर विस्तार से चर्चा करेंगे और यह भी जानेंगे कि 7वें वेतन आयोग के तहत पेंशन और ग्रेच्युटी की मौजूदा स्थिति क्या है।
7वें वेतन आयोग के तहत पेंशन और ग्रेच्युटी का प्रावधान
पेंशन का नियम (Pension Rule under 7th CPC)
सरकारी कर्मचारियों को पेंशन दो तरह से मिलती है –
- पुरानी पेंशन योजना (OPS – Old Pension Scheme) – इसमें कर्मचारी को सेवानिवृत्ति के बाद मासिक पेंशन दी जाती थी।
- नई पेंशन योजना (NPS – New Pension Scheme) – इस योजना में पेंशन का भुगतान कर्मचारियों के योगदान और बाजार आधारित निवेश पर निर्भर होता है।
ग्रेच्युटी का नियम (Gratuity Rule under 7th CPC)
ग्रेच्युटी वह रकम होती है जो सरकारी कर्मचारी को सेवानिवृत्ति या नौकरी छोड़ने के समय दी जाती है।
- पहले अधिकतम ग्रेच्युटी राशि ₹10 लाख थी, जिसे 7वें वेतन आयोग के तहत बढ़ाकर ₹20 लाख कर दिया गया।
- जिन कर्मचारियों ने 5 साल या उससे अधिक समय तक सेवा की होती है, उन्हें ग्रेच्युटी का लाभ मिलता है।
क्या केंद्र सरकार ने पेंशन और ग्रेच्युटी बंद कर दी?
🔹 फैक्ट चेक: हाल ही में कई खबरों में दावा किया गया कि सरकार 7वें वेतन आयोग के तहत पेंशन और ग्रेच्युटी बंद करने की योजना बना रही है। लेकिन यह पूरी तरह से गलत और भ्रामक जानकारी है।
🔹 सच्चाई यह है:
- केंद्र सरकार ने ऐसा कोई आधिकारिक ऐलान नहीं किया है।
- पुरानी पेंशन योजना (OPS) को लेकर विवाद जारी है, लेकिन अभी तक इसे बंद करने का कोई फैसला नहीं हुआ है।
- ग्रेच्युटी के नियमों में भी कोई बदलाव नहीं किया गया है।
- EPFO के नियमों में कुछ बदलाव किए गए हैं, लेकिन वे केवल निजी कर्मचारियों की ग्रेच्युटी से जुड़े हैं, न कि सरकारी कर्मचारियों की।
यानी पेंशन और ग्रेच्युटी बंद होने की खबर केवल अफवाह है।
7वें वेतन आयोग के तहत पेंशन और ग्रेच्युटी के मौजूदा नियम
1. सरकारी कर्मचारियों को कितनी पेंशन मिलती है?
- पुराने सरकारी कर्मचारियों को उनकी अंतिम सैलरी के आधार पर पेंशन दी जाती है।
- नई पेंशन योजना (NPS) के तहत, कर्मचारियों को मासिक वेतन से कटौती करनी होती है, जिसके बदले उन्हें सेवानिवृत्ति के बाद पेंशन मिलती है।
- केंद्र सरकार NPS के तहत 14% योगदान करती है, जबकि कर्मचारी 10% योगदान देते हैं।
2. ग्रेच्युटी का भुगतान कैसे किया जाता है?
- अगर कोई कर्मचारी 5 साल या उससे अधिक समय तक काम करता है, तो उसे ग्रेच्युटी मिलती है।
- अधिकतम ग्रेच्युटी ₹20 लाख तक मिल सकती है।
- सरकारी कर्मचारी के निधन पर उसके परिवार को भी ग्रेच्युटी का लाभ दिया जाता है।
कर्मचारियों पर सरकार के नए फैसलों का असर
हाल ही में सरकार ने पेंशन और ग्रेच्युटी से जुड़े कुछ बदलाव किए हैं, जो निम्नलिखित हैं:
✔️ नया पेंशन फॉर्मूला लागू: सरकार ने NPS के तहत कर्मचारियों को अधिक लाभ देने के लिए एक नई योजना शुरू की है।
✔️ OPS बहाली की मांग: कुछ राज्य सरकारों ने पुरानी पेंशन योजना वापस लागू कर दी है, लेकिन केंद्र सरकार ने अभी तक इस पर कोई फैसला नहीं लिया है।
✔️ EPFO ग्रेच्युटी नियमों में बदलाव: निजी कर्मचारियों के लिए ग्रेच्युटी की गणना के तरीके में बदलाव किया गया है, लेकिन सरकारी कर्मचारियों पर इसका कोई असर नहीं होगा।
क्या कर्मचारियों के लिए कोई राहत है?
🔹 सरकार ने यह साफ कर दिया है कि पेंशन और ग्रेच्युटी बंद नहीं की जाएगी।
🔹 भविष्य में कुछ बदलाव हो सकते हैं, लेकिन वे कर्मचारियों के हित में होंगे।
🔹 OPS की बहाली को लेकर कई राज्यों में चर्चा जारी है, और केंद्र सरकार इस पर विचार कर सकती है।
निष्कर्ष: 7वें वेतन आयोग के तहत पेंशन और ग्रेच्युटी बंद नहीं होगी
✅ केंद्र सरकार ने 7वें वेतन आयोग के तहत पेंशन और ग्रेच्युटी बंद करने का कोई फैसला नहीं लिया है।
✅ NPS के तहत पेंशन जारी रहेगी, और सरकार इसके सुधार पर काम कर रही है।
✅ ग्रेच्युटी की अधिकतम सीमा ₹20 लाख ही रहेगी, इसमें कोई कटौती नहीं की गई है।
🚨 अगर आपको इस विषय से जुड़ी कोई गलत खबर मिलती है, तो उसे बिना पुष्टि किए न फैलाएं।
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